GST

At a Glance


**   इन वस्तुओं पर जी0एस0टी0 नहीं लगेगा। इन पर पुरानी टैक्स प्रणाली केन्द्रीय उत्पाद शुल्क तथा वैट लागू रहेगी।
   1. मानव उपयोग के लिए शराब।
   2. कच्चा पेट्रोलियम तेल।
   3. पेट्रोल
   4. डीजल
   5. प्राकृतिक गैस
   6. विमानन टर्बाइन ईधन
   7. बिजली


**   तम्बाकू एवं तम्बाकू उत्पाद पर जी0एस0टी0 लगेगा। इन पर केन्द्रीय उत्पाद शुल्क भी लग सकता है।

**   प्रदेश के अन्दर खरीद व बिक्री पर जी0एस0टी0 GST दो भागों में लगेगा। एक जी0एस0टी0 के राज्य का भाग जिसे एस0जी0एस0टी0 (SGST) कहेंगें और यह राज्य सरकार के खाते में जमा की जायेगी। दूसरा भाग सी0जी0एस0टी0 (CGST) कहलायेगा। इसे केन्द्रीय सरकार के खाते में जमा करना होगा। इनपुट टैक्स क्रेडिट खरीद पर आई0टी0सी0 (ITC) के लिए राज्य के भाग को राज्य के भाग में ही एडजेस्ट करना होगा, और केन्द्र के भाग को सी0जी0एस0टी0 (CGST) यानि केन्द्र के भाग में एडजेस्ट करना होगा। इनपुट टैक्स क्रेडिट राज्य से बाहर की खरीद पर आई0टी0सी0, आई0जी0एस0टी0 (IGST) को सबसे पहले आई0जी0एस0टी0 में एडजेस्ट करना होगा, बचे भाग को पहले केन्द्र के भाग सी0जी0एस0टी0 (CGST) में एडजेस्ट करना होगा अन्त में बचे भाग को राज्य के भाग में (SGST) एडजेस्ट करना होगा।

**   जी0एस0टी0 (GST) व्यवस्था में वस्तुओं एवं सेवाओं को एच0एस0एन0 (HSN Code) (हार्मोनाइज्ड सिस्टम आफ नामेंक्लेचर) द्वारा वर्गीकृत किया जायगा। उदाहरण के लिए जैसे वैट में कामोडिटी कोड भरा जाता था।
   एच0एस0एन0 कोड को चालान और बिलों में भी लिखना होगा। इसके लिए बिक्रेता के टर्नओवर के आधार पर निम्न प्रकार से लिखना होगा।
   --टर्नओवर 1.5 डेढ़ करोड़ से कम होने पर चालान व बिलों पर एच0एस0एन0 कोड लिखना जरूरी नही है।
   --जिनका टर्नओवर 1.5 डेढ़ करोड़ से ज्यादा है परन्तु 5 पांच करोड़ से कम है उनको अपने चालान व बिलों पर 2 अंकों के कोड लिखना आवश्यक होगा।
   --जिनका टर्नओवर 5 पांच करोड़ से ज्यादा है उनको अपने चालान व बिलों पर 4 अंकों के कोड लिखना आवश्यक होगा।


**   सेवाओं को Service Tax सर्विस एकाउंटिंग कोड यानि एस.ए.सी कोड डालना होगा।

**   निर्यात को शून्य दर की आपूर्ति के रूप में माना जायगा। वस्तुओं व सेवाओं के निर्यात पर कोई कर देय नही होगा, हालांकि इनपुट टैक्स क्रेडिट की सुविधा उपलब्ध रहेगी, और उसे निर्यातकों को रिफंड कर दिया जायगा।

**   वैट की तरह ही जी0एस0टी0 (GST) में भी 50 लाख के टर्नओवर तक के ब्यापारियों के लिए संरचना योजना (कम्पोजिट स्कीम) वैकल्पिक रूप् में लागू रहेगी।

**   अपंजीकृत व्यापारियों से माल खरीदने पर आई0टी0सी0 का लाभ नही मिलेगा जैसा कि वैट में भी होता था। उसी माल की आपूर्ति (बेचने) पर जी0एस0टी0 देना होगा|

State Code List
Sl No.State(Hindi)State(English)CodeCode
1अंडमान व नोकोबार द्वीप समूहAndaman and Nicobar Islands 35AN
2आंध्र प्रदेशAndhra Pradesh 28AP
3आंध्र प्रदेश (नया)Andhra Pradesh (New) 37AD
4अरुणाचल प्रदेशArunachal Pradesh 12AR
5असमAssam 18AS
6बिहारBihar 10BH
7चंडीगढ़Chandigarh 4CH
8छत्तीसगढ़Chattisgarh22CT
9दादरा और नगर हवेलीDadra and Nagar Haveli 26DN
10दमन और दीवDaman and Diu 25DD
11दिल्लीDelhi7DL
12गोवाGoa 30GA
13गुजरातGujarat24GJ
14हरयाणाHaryana 6HR
15हिमाचल प्रदेशHimachal Pradesh 2HP
16जम्मू और कश्मीरJammu and Kashmir 1JK
17झारखंडJharkhand 20JH
18कर्नाटकKarnataka 29KA
19केरलKerala 32KL
20लक्षद्वीप द्वीप समूहLakshadweep Islands 31LD
21मध्य प्रदेशMadhya Pradesh 23MP
22महाराष्ट्रMaharashtra 27MH
23मणिपुरManipur 14MN
24मेघालयMeghalaya 17ME
25मिजोरमMizoram 15MI
26नगालैंडNagaland 13NL
27ओडिशाOdisha 21OR
28पांडिचेरीPondicherry 34PY
29पंजाबPunjab 3PB
30राजस्थानRajasthan 8RJ
31सिक्किमSikkim 11SK
32तमिलनाडुTamil Nadu 33TN
33तेलंगानाTelangana 36TS
34त्रिपुराTripura 16TR
35उत्तर प्रदेशUttar Pradesh 9UP
36उत्तराखंडUttarakhand 5UT
37पश्चिम बंगालWest Bengal19WB

Invoice



Invoice Rules